National: राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन ने दुबई में संयुक्त राष्ट्र जलवायु परिवर्तन सम्मेलन में ग्लोबल रिवर सिटीज अलायंस का शुभारंभ किया

National Mission for Clean Ganga launches Global River Cities Alliance at UN Climate Change Conference in Dubai

भारत सरकार के जल शक्ति मंत्रालय के तहत राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन (एनएमसीजी) के नेतृत्व में ग्लोबल रिवर सिटीज़ अलायंस (जीआरसीए) को संयुक्त अरब अमीरात के दुबई में आयोजित कॉप-28 में आरंभ किया गया था। इसमें भारत, मिस्र, नीदरलैंड, डेनमार्क, घाना, ऑस्ट्रेलिया, भूटान, कंबोडिया, जापान और नीदरलैंड से हेग (डेन हाग) के नदी किनारे स्थित शहर, ऑस्ट्रेलिया से एडिलेड और हंगरी के स्ज़ोलनोक तथा अंतर्राष्ट्रीय वित्तपोषण एजेंसियां ​​विश्व बैंक, एशियाई डेवलपमेंट बैंक (एडीबी), एशियन इंफ्रास्ट्रक्चर इन्वेस्टमेंट बैंक (एआईआईबी) और केपीएमजी जैसे ज्ञान प्रबंधन संस्थान ने एक साझेदारी की थी। इसके  तहत 2021 में नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ अर्बन अफेयर्स (एनआईयूए) ने एनएमसीजी के साथ मौजूदा रिवर सिटीज अलायंस (आरसीए) का गठन किया था, जिसकी पहुंच का व्यापक रूप से विस्तार किया जा रहा है।

जीआरसीए एक अनूठा गठबंधन है, जो 11 देशों के 275+ वैश्विक नदी-शहरों, अंतरराष्ट्रीय वित्त पोषण एजेंसियों और ज्ञान प्रबंधन भागीदारों को शामिल करता है। यह दुनिया में अपनी तरह का पहला गठबंधन है। जीआरसीए का शुभारंभ, नदी संरक्षण और सतत जल प्रबंधन की दिशा में वैश्विक प्रयासों में एक महत्वपूर्ण कदम का परिचायक है। इसके बाद, साझेदार देश प्रभावी कार्यान्वयन के लिए जीआरसीए के प्रारूप को आकार देते हुए, कॉप के बाद की गतिविधियों का समन्वय करने के लिए तत्पर हैं। एक वीडियो संदेश के माध्यम से जीआरसीए के लॉन्च कार्यक्रम को संबोधित करते हुए, केंद्रीय जल शक्ति मंत्री श्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन पर प्रकाश डाला और इसे बढ़ावा देने के लिए 2021 में लॉन्च किए गए रिवर सिटीज अलायंस (आरसीए) के महत्व पर जोर दिया, ताकि नदी शहरों का सतत विकास किया जा सके। उन्होंने नमामि गंगे और मिसिसिपी रिवर सिटीज एंड टाउन्स इनिशिएटिव (एमआरसीटीआई) के बीच सहयोग पर संतोष व्यक्त किया, जिसके लिए सहयोग ज्ञापन (एमओसीपी) पर हस्ताक्षर किए गए हैं। उन्होंने कहा कि अपनी स्थापना के बाद से, आरसीए ने डेनमार्क के आरहस शहर सहित भारत के 143 सदस्य शहरों को शामिल करने के लिए विस्तार किया है तथा स्थायी शहरी नदी प्रबंधन के लिए प्रमुख ढांचे के लिए यह प्रेरक के रूप में उभरा है। उन्होंने कहा कि आरसीए के प्रयासों को अंतरराष्ट्रीय हितधारकों से मान्यता और सराहना मिली है।

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