Delhi: आंगनवाड़ियों को बेहतर बनाने के क्रम में महिला एवं बाल विकास मंत्री आतिशी ने आंगनवाड़ी वर्कर्स व हेल्पर्स के साथ की चर्चा
In order to improve Anganwadis, Women and Child Development Minister Atishi discussed with Anganwadi workers and helpers.
दिल्ली की आंगनवाड़ियों को बेहतर बनाने और इनकी कार्यशैलियों को समझने के लिए महिला एवं बाल विकास मंत्री आतिशी ने इंदरपुरी प्रोजेक्ट की सभी 175 आंगनवाड़ियों की कार्यकर्ताओं व सहायिकाओं के साथ चर्चा की व उनके सुझाव लिए। मंत्री आतिशी ने कहा कि, आप सभी के सुझाव केजरीवाल सरकार की आंगनवाड़ियों को शानदार बनाने की दिशा में बेहद महत्वपूर्ण है। चर्चा के दौरान आंगनवाड़ी वर्कर्स-हेल्पर्स को प्रोत्साहित करते हुए मंत्री आतिशी ने कहा कि, दिल्ली सरकार के स्कूलों में पिछले 8 सालों में शानदार काम करते हुए हमने उन्हें वर्ल्ड क्लास बनाया और पैरेंट्स का भरोसा जीता कि यहाँ उनके बच्चों का भविष्य सुरक्षित है। इसके बाफ़ अब आंगनवाड़ियों की बारी है और हम उन्हें भी शानदार बनाते हुए पैरेंट्स का भरोसा जीतेंगे। इस दिशा में आंगनवाड़ी वर्कर्स के सुझाव हमारे लिए बहुत महत्वपूर्ण होंगे। उन्होंने कहा कि, बच्चों की ज़िंदगी में बदलाव लाने की सबसे महत्वपूर्ण कड़ी आंगनवाड़ियाँ है।हमारी आंगनवाड़ियों में जो बच्चे आ रहे है और जिस उम्र में आ रहे है वो उनके सीखने और मानसिक विकास का सबसे महत्वपूर्ण समय होता है। अगर 5 साल की उम्र तक हम उन्हें बेहतर लर्निंग देने में कामयाब रहे तो आगे ज़िंदगी में वो ज़रूर सफल होंगे क्योंकि उनकी बुनियाद मज़बूत होगी। ऐसे में हमारी आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण हो जाती है क्योंकि उस दौरान वो बच्चे उनसे जो सीख रहे है वो आगे उनकी ज़िंदगी में बहुत काम आने वाला है। और मुझे गर्व है कि दिल्ली में हमारे पास आंगनवाड़ी वर्कर्स व हेल्पर्स की इतनी शानदार टीम है बहुत मेहनत करती है और बचपन को संवारने का काम कर रही है। हमारी आंगनवाड़ी वर्कर्स व हेल्पर्स अपने काम की बदौलत देश के बुनियादी को मज़बूत बना रही है।
बेहतर पोषण के लिए मोटे अनाजों की भूमिका पर चर्चा करते हुए डब्ल्यूसीडी मंत्री आतिशी ने कहा कि, आज के समय में जाने अनजाने में पैरेंट्स विज्ञापनों से प्रेरित होकर अपने बच्चों को बहुत से प्रोसेस्ड फ़ूड खिलाते है। उन्हें लगता है कि इससे उनके बच्चों को पोषण मिलेगा लेकिन ऐसा होता नहीं है। ऐसे में हमारी आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं की ये ज़िम्मेदारी है कि वो पैरेंट्स को इस विषय में जागरूक करें और उन्हें मोटे अनाजों को अपने खाने में शामिल करने को प्रोत्साहित करें। इसके लिए आंगनवाड़ी वर्कर्स पहले स्वयं अपने घरों में आसानी से उपलब्ध चीजों के माध्यम से मोटे अनाजों के विभिन्न व्यंजन बनाए और उसकी सरल रेसिपी पैरेंट्स के साथ साझा करे।